
Acharya Pramod Krishnam Congress shahtimesnews
कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल द्वारा जारी हुए प्रेस रिलीज नोट में बताया गया है कि “अनुशासनहीनता की शिकायतों और पार्टी के ख़िलाफ़ बार-बार बयानबाज़ी को ध्यान में रखते हुए कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने आचार्य प्रमोद कृष्णम को तत्काल प्रभाव से ने छह साल के लिए पार्टी से निष्कासित करने के उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के पेशकश को मंज़ूरी दे दी है.”।
नई दिल्ली,(Shah Times)। धार्मिक उपदेशक और कांग्रेस नेता आचार्य प्रमोद कृष्णम को छह साल के लिए पार्टी से निष्कासित कर दिया गया है. आखिर कांग्रेस ने आचार्य प्रमोद कृष्णम को क्यों दिखाया बाहर का रास्ता? आपको बता दें कि यह कार्रवाई उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी की तरफ से भेजे गए प्रस्ताव की बुनियाद पर की गई है. यह कार्रवाई उनकी अनुशासनहीनता और कांग्रेस पार्टी के खिलाफ जबानी लफ्फाजी और बेतुकी बयानबाजी की वजह से की गई है।
कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल द्वारा जारी हुए प्रेस रिलीज नोट में बताया गया है कि “अनुशासनहीनता की शिकायतों और पार्टी के ख़िलाफ़ बार-बार बयानबाज़ी को ध्यान में रखते हुए कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने आचार्य प्रमोद कृष्णम को तत्काल प्रभाव से ने छह साल के लिए पार्टी से निष्कासित करने के उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के पेशकश को मंज़ूरी दे दी है.”।
कांग्रेस नेता आचार्य प्रमोद कृष्णम की पहचान धार्मिक उपदेशक की भी है. हाल ही में उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की थी और उत्तर प्रदेश के संभल में कल्कि धाम के शिलान्यास समारोह का न्योता दिया था.वहीं पिछले दिनों उन्होंने कल्कि धाम के कार्यक्रम के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से लेकर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ समेत भारतीय जनता पार्टी के तमाम बड़े नेताओं को आमंत्रित भी किया था.
आचार्य प्रमोद कृष्णम अलग-अलग वक्त पर कांग्रेस नेता राहुल गांधी के बयानों से इतर भी बयान देते हुए नजर आते हैं. इसके अलावा वह कांग्रेस की विपरीत दिशा से हटकर भी बयान देते थे।
आचार्य प्रमोद कृष्णम साल 2019 में लखनऊ लोकसभा सीट से राजनाथ सिंह के खिलाफ चुनाव लड़ चुके हैं. आचार्य प्रमोद कृष्णम इस बार भी लोकसभा चुनाव लड़ना चाहते थे. वह लखनऊ के अलावा संभल से भी चुनाव लड़ने की कोशिश में थे, लेकिन मौजूदा इंडिया गठबंधन में समाजवादी पार्टी ने संभल और लखनऊ की लोकसभा सीट पर अपना एक-एक प्रत्याशी उतार चुकी है. इस वजह से भी वह पार्टी से नाराज दिखाई पड़ रहे थे. उम्मीद जताई जा रही है कि आचार्य प्रमोद कृष्णम आने वाले दिनों में भारतीय जनता पार्टी से जुड़ सकते हैं और भारतीय जनता पार्टी आगामी लोकसभा चुनाव में किसी सीट से प्रत्याशी बना सकती है।