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इम्फाल, (Shah Times) । मणिपुर सरकार ने 1,87,143 लोगों को निवारक हिरासत में रखा था और उचित कानूनी औपचारिकताओं के बाद उन्हें रिहा कर दिया है।
मई 2023 में शुरू हुए संकट के बाद राज्य में 219 से अधिक लोगों की जान गयी है। मणिपुर राज्यपाल डॉ. अनुसुइया उइके ने बुधवार को राज्य विधानसभा के सत्र को संबोधित करते हुए कहा, “अब तक कुल लगभग 10,000 प्राथमिकी (एफआईआर) पंजीकृत दर्ज की गयी है , जिनमें से 29 मामले स्वतंत्र और पारदर्शी जांच के लिए केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को और एक मामला राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) को सौंप दिया गया है।
उन्होंने कहा कि राज्य सुरक्षा बलों, केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल की 198 कंपनियों और सेना की 140 टुकड़ियों को राज्य में क्षेत्र प्रभुत्व, स्वच्छता और कानून-व्यवस्था बनाए रखथने के लिए तैनात किया गया है।
उन्होंने कहा कि बदमाशों द्वारा छीने गए हथियारों और गोला-बारूद का ऑडिट करने और उसे बरामद करने के लिए एक समिति भी गठित की गई है। छीने गए हथियारों की बरामदगी के लिए खुफिया आधारित अभियान चलाए जा रहे हैं। यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि हिंसा के कारण 219 लोगों की जान चली गई। उन्होंने बताया कि प्रभावित परिवारों को 10 लाख रुपये रुपये की अनुग्रह राशि का वितरण किया जा रहा है। रुपये प्रत्येक विस्थापित व्यक्ति को दो बार 1,000-1, 000 रुपये दिए गए है और तीसरा चरण भी शुरू हो गया है।
उइके ने कहा कि सरकार ने राहत कार्यों के विभिन्न पहलुओं पर लगभग 200 करोड़ रुपये खर्च किए हैं। किसानों को उनके नुकसान की भरपाई के लिए 38.60 करोड़ रुपये उपलब्ध कराए गए हैं।
उन्होंने कहा कि राहत केंद्रों में रहने वाले छात्रों को बिना किसी अतिरिक्त लागत के नजदीकी स्कूलों से जोड़ा गया। पसंद के कॉलेज में स्थानांतरण के लाभ, निःशुल्क प्रवेश, 10,000 रुपये और मुफ्त स्मार्टफोन प्रदान किए गए है।