
दून चिकित्सालय पहुंचे एसएसपी अजय सिंह ने जब एक महिला केा अपनी एक साल की नाती को गोद में लिए हुए रोते देखा तो एसएसपी ने उक्त मासूम बच्ची के संबंध में जानकारी की
देहरादून, मयूर गुप्ता (Shah Times)। विगत दो दिन पूर्व पुलिस की गोली लगने से घायल हुए कुख्यात बदमाश का हालचाल जानने के लिए दून चिकित्सालय पहुंचे एसएसपी ने जब एक महिला केा अपनी एक साल की नाती को गोद में लिए हुए रोते देखा तो एसएसपी ने उक्त मासूम बच्ची के संबंध में जानकारी की तो मकान में गिर जाने से जिंदगी और मौत से जूझ रही मासूम जान की जिंदगी को बचाने के लिए अजय सिंह ने जरा सी भी देरी नहीं दिखाई और महिला सीओ प्रेमनगर को तत्काल सरकारी जीप से दून के एक सबसे बड़े निजी अस्पताल में मासूम का उपचार करवाने के लिए भिजवाया तो एसएसपी की तत्परता और उक्त अस्पताल के डाक्टरों की टीम द्वारा किए गए उपचार के बाद आज उक्त मासूम जिंदगी एक बार फि़र अपनी नन्हीं आंखों से दुनियां को देख पा रही है और अपनी नॉनी की गोद में है और महिला सीओ प्रेमनगर भी अस्पताल के उस कक्ष में मौजूद है। हालांकि अभी डाक्टर अभी उक्त नन्ही जान को गहन चिकित्सका कक्ष में रखे हुए है और उसकी निगरानी कर रहे है।
रविवार की देर रात्रि वरिष्ठ पुलिस अधाीक्षक अजय सिंह जिस समय पुलिस की गोली पैर में लग जाने से घायल हुए बदमाश का हालचाल जानने के लिए दून चिकित्सालय पहुुंचे तो कि तभी उनकी नजर दून अस्पताल में मौजूद एक महिला पर पड़ी जो अपनी एक साल की मासूम बच्ची को छाती से लगाकर रो रही थी और उसका रो-रोकर बुरा हाल था। महिला को मासूम बच्ची को छाती से लगाकर रोते देख एसएसपी ने मानवता दिखाते हुए उक्त महिला के पास पहुंचकर पूरे मामले की जानकारी की तो पता चला था कि उक्त बच्ची मकान में गिर पड़ी थी और वह बेसुद हैं। वरिष्ठ पुलिस अधाीक्षक अजय सिंह ने दून चिकित्सालय में मौजूद अपने अधाीनस्थों में से एक महिला सीओ प्रेमनगर रीना राठौड़ को आदेश दिए कि वह अपनी सरकारी जीप से तत्काल उक्त बच्ची को लेकर दून के सबसे बड़े निजी अस्पताल पहुंचे और उसका उपचार प्रारंभ करवाएं वह उक्त निजी अस्पताल के डाक्टरों से उक्त मासूम बच्ची के संबंध में वार्ता कर पूरी जानकारी दे रहे है।
एसएसपी के आदेश के बाद तत्काल पुलिस विभाग और सीओ प्रेमनगर हरकत में आए थे और मासूम अबिबा को बिना देरी किए उक्त निजी अस्पताल में पहुंचाने का काम करते हुए उसका उपचार प्रारंभ करवाया था।
इस दौरान निजी अस्पताल के डाक्टरों ने एक साल की मासूम अबिबा निवासी मुस्लिम कॉलोनी लक्खीबाग की हालत चिंताजनक देखते हुए उसकों आपातकालीन कक्ष में पहुंचाया। अस्पताल के डाक्टरों और सीओ प्रेमनगर रीना राठौड़ की दिन रात की कड़ी मशक्त के बाद मंगलवार को उक्त बच्ची एक बार फि़र अपनी आंखों से दुनियां को देख पा रही है। एक साल की अबिबा के ठीक हो जाने की खुशी में उसकी नानी ने वहां पर मौजूद सीओ प्रेमनगर का आभार जताया और अल्हा ताला से वरिष्ठ पुलिस अधाीक्षक अजय सिंह के लिए उनकी सेहत और लम्बी जिंदगी की दुआ मांगी।
इतना ही नहीं एक साल की मासूम अबिबा का उपचार करने में रात दिन एक करने वाले उक्त अस्पताल के डाक्टरों की टीम का भी आभार जताया। एसएसपी ने बताया कि एक साल की अबिबा के अपने मकान में गिर जाने के कारण और सिर में अत्यधिक गंभीर चोट आने पर वह शरीर से अपना नियंत्रण खो बैठी थी। अबिबा की हालत देखकर उसकी जिंदगी बच सके इस कारण से उन्होंने बिना देरी किए महिला सीओ प्रेमनगर के साथ उक्त मासूम को उपचार के लिए भेजा था।
बच्ची की स्थिति देख एसएसपी ने मानवता दिखाते हुए तत्काल सरकारी जीप से उक्त घायल बच्ची को उसकी मां के साथ दून के एक निजी अस्पताल में उपचार के लिए पहुंचाने के आदेश सीओ प्रेमनगर को दिए।
दून चिकित्सालय में मौजूद भीड़ और चिकित्सकों ने एसएसपी की मानवता के बाद उक्त बच्ची का सिटी स्कैन करवाने और उसका ठीक उपचार करवाने की बात एसएसपी से की। इस दौरान एसएसपी ने सीओ प्रेमनगर को आदेश दिए कि वह उक्त निजी अस्पताल में अपनी देखरेख में बच्ची का उपचार करवाएं और अगर किसी प्रकार की कोई आवश्यकता हो तो वह उनसे वार्ता करें वह उपचार की व्यवस्था करने का काम करेंगे।