यूपी पुलिस की श्रीराम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा समारोह में भूमिका रही सराहनीय

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उत्तर प्रदेश के विशेष पुलिस महानिदेशक कानून व्यवस्था प्रशांत कुमार सहज भाव से इसका श्रेय प्रभु राम को देते हैं कहा “ निसंदेह इस कार्यक्रम का बगैर विघ्न बाधा के संपन्न होने के पीछे प्रभु राम की कृपा है। 

अयोध्या,(Shah Times) । देश की नामी गिरामी हस्तियों की मौजूदगी में अयोध्याधाम में बहुप्रतीक्षित श्रीरामलला के नवीन विग्रह की प्राण प्रतिष्ठा का कार्यक्रम सोमवार को निर्विघ्न रुप से संपन्न हो गया।

कानून व्यवस्था के लिहाज से उत्तर प्रदेश की सुरक्षा एजेंसियों के लिये यह प्रतिष्ठित समारोह किसी चुनौती से कम नहीं था जिसे केंद्रीय एजेंसियों की मदद से अंजाम तक पहुंचाने में एक बार फिर यूपी पुलिस सफल हुयी है। हालांकि इससे पहले प्रदेश की पुलिस प्रयागराज कुंभ समेत कई अन्य अवसरों पर अपनी प्रतिभा का लोहा मनवा चुकी है।

उत्तर प्रदेश के विशेष पुलिस महानिदेशक कानून व्यवस्था प्रशांत कुमार सहज भाव से इसका श्रेय प्रभु राम को देते हैं। उन्होने कहा “ निसंदेह इस कार्यक्रम का बगैर विघ्न बाधा के संपन्न होने के पीछे प्रभु राम की कृपा है। यह एक चुनौती से ज्यादा हमारे लिये एक अवसर था कि इस वृहद आयोजन को कैसे सफल बनाया जाये और इसमें हम सफल हुये है। हम इस अनुभव का लाभ अगले साल होने वाले महाकुंभ में उठायेंगे।”गौरतलब है कि प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और संघ प्रमुख डा मोहन भागवत के अलावा प्रमुख उद्योगपति मुकेश अंबानी,फिल्म अभिनेता रजनीकांत,अमिताभ बच्चन,क्रिकेटर सचिन तेंदुलकर और साइना नेहवाल समेत खेल,कला,साहित्य,मनोरंजन,उद्योग जगत की तमाम हस्तियों को आमंत्रित किया गया था।

 समारोह में महंत श्रीरामभद्राचार्य, योग गुरु स्वामी रामदेव समेत कई उच्च पद आसीन संत और महात्माओं ने भाग लिया था। इन सबकी सुरक्षा की जिम्मेदारी मुख्य रुप से उत्तर प्रदेश पुलिस की थी।कार्यक्रम को निर्विघ्न रुप से संपन्न कराने के लिये अयोध्या में भारी पुलिस बल की तैनाती की गई थी। धाम की सुरक्षा को लेकर इसे दो जोन रेड और यलो में बांटा गया था। एसपीजी, एनएसजी ब्लैक कैट कमांडो, सीआरपीएफ कोबरा, सीआईएसएफ, आरएएफ, एनडीआरएफ को तैनात किया गया था।

 चप्पे-चप्पे पर यूपी पुलिस के सुरक्षाकर्मी मुस्तैद हैं। घरों की छतों से लेकर अहम लोकेशंस पर स्नाइपर्स की भी तैनाती की गयी थी। साथ ही इंटेलिजेंस ब्यूरो और रॉ भी गतिविधियों पर नजर रख रही थी।धाम में प्रदेश के विभिन्न जिलों के 100 से अधिक डीएसपी, लगभग 325 इंस्पेक्टर व 800 उपनिरीक्षकों को तैनात किया गया था, जबकि पुलिस और अर्धसैनिक बलों के 11,000 जवानों को अतिरिक्त तैनात किया गया था। वहीं वीआईपी सुरक्षा के लिए तीन डीआईजी, 17 एसपी, 40 एएसपी, 82 डीएसपी, 90 इंस्पेक्टर के साथ एक हजार से ज्यादा कॉस्टेबल और 4 कंपनी पीएसी को तैनात किया गया था।श्रद्धालुओं को दर्शनीय स्थलों की जानकारी देने के लिए 250 पुलिस गाइड भी उपलब्ध थे। धाम की सुरक्षा को अभेद्य बनाने के लिए आईटीएमएस, सीसीटीवी, कंट्रोल रूम एवं पब्लिक सीसीटीवी का भी सहारा लिया जा रहा था। 

अवांछनीय तत्वों पर नजर रखने के लिये आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस (एआई) तकनीक पर आधारित एंटी ड्रोन सिस्टम पूरी तरह से सक्रिय मोड पर था।प्राण प्रतिष्ठा के अवसर पर वीवीआईपी मूवमेंट को देखते हुए अयोध्या-लखनऊ, अयोध्या-गोरखपुर, अयोध्या-प्रयागराज और अयोध्या-वाराणसी हाईवे को ग्रीन कॉरिडोर में बदला गया था। स्वयं के हेलिकॉप्टर व प्राइवेट चार्टर्ड प्लेन से आने वाले वीवीआईपी के लिए महर्षि वाल्मीकि अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा अयोध्या धाम के साथ-साथ 5 राज्यों के 12 शहरों के एयरपोर्ट्स में पार्किंग की व्यवस्था की गई थी।

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