
Kathua Disaster: बादल फटने और भूस्खलन से Village तबाह, लोग सुरक्षित जगह शिफ्ट
जम्मू-कश्मीर Cloudburst: Kathua में मौत और मलबे के बीच राहत-बचाव तेज
जम्मू-कश्मीर के Kathua जिले में बादल फटने और भूस्खलन से 7 लोगों की मौत और कई घायल। SDRF और NDRF की टीमें राहत-बचाव में जुटी। CM उमर अब्दुल्ला और गृहमंत्री अमित शाह ने जताया दुख।
New Delhi,(Shah Times) । जम्मू-कश्मीर के कठुआ जिले में रविवार तड़के एक बड़ा हादसा हुआ जब cloudburst और landslide की दो अलग-अलग घटनाओं ने तबाही मचा दी। आधिकारिक जानकारी के मुताबिक अब तक 7 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि कई अन्य घायल हैं। भारी बारिश से गाँवों का रास्ता बंद हो गया है और कई घरों को नुकसान पहुँचा है।
प्रभावित क्षेत्र और हालात
Kathua के राजबाग और जंगलोट के जोध घाटी गाँव सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं। जोध घाटी में cloudburst की वजह से पाँच लोगों की जान चली गई, वहीं जंगलोट इलाके में भूस्खलन से दो लोग मारे गए।
स्थानीय लोग, SDRF, पुलिस और वॉलंटियर्स मिलकर राहत-बचाव कार्य कर रहे हैं। घायलों को हॉस्पिटल पहुँचाया गया है, जबकि प्रशासन लगातार हालात पर नज़र बनाए हुए है।
मरने वालों की पहचान
मृतकों में शामिल हैं:
रेणु देवी (39 वर्ष) और उनकी बेटी राधिका (9 वर्ष) – गाँव बगरा, जंगलोट से
सुरमु दीन (30 वर्ष), उनके बेटे फानू (6 वर्ष) और शेडू (5 वर्ष)
हबीब दीन का बेटा टाहू (2 वर्ष)
बशीर अहमद की बेटी ज़ुल्फान (15 वर्ष)
यह हादसा पूरे इलाके को शोक में डुबो गया है।
प्रशासनिक रेस्पॉन्स
जिला विकास आयुक्त राजेश शर्मा वरिष्ठ अधिकारियों के साथ मौके पर पहुँचे और राहत कार्य की मॉनिटरिंग कर रहे हैं। भारी बारिश के चलते ज्यादातर जलाशयों का जलस्तर बढ़ गया है और उझ नदी खतरे के निशान के करीब बह रही है। लोगों को चेतावनी दी गई है कि वे जलाशयों और नदी के पास न जाएँ।
CM उमर अब्दुल्ला का बयान
जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने इस त्रासदी पर गहरा दुख व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि,
“यह एक बेहद दर्दनाक हादसा है। मैं शोक संतप्त परिवारों के साथ संवेदना व्यक्त करता हूँ और घायलों के जल्द स्वस्थ होने की दुआ करता हूँ।”
CM ने प्रशासन को निर्देश दिया कि राहत और बचाव कार्य में कोई ढिलाई न बरती जाए और प्रभावित परिवारों को हर संभव मदद पहुँचाई जाए।
केंद्रीय नेतृत्व की प्रतिक्रिया
Union Home Minister Amit Shah ने भी LG मनोज सिन्हा और CM उमर अब्दुल्ला से बात कर स्थिति की जानकारी ली। उन्होंने कहा,
“कठुआ में cloudburst की घटना दुखद है। स्थानीय प्रशासन और NDRF की टीमें राहत-बचाव कार्य में जुटी हैं। मोदी सरकार हर संभव मदद उपलब्ध कराएगी।”
केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने कहा कि Army, Paramilitary और Local Administration एक साथ मिलकर rescue operations चला रहे हैं।
LG Manoj Sinha का संदेश
जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल कार्यालय से जारी बयान में कहा गया कि,
“कठुआ में cloudburst और landslide से हुई मौतें अत्यंत दुखद हैं। हमने तुरंत सेना, NDRF, SDRF, पुलिस और प्रशासन को राहत-बचाव कार्य तेज करने का निर्देश दिया है।”
Relief and Rescue Updates
SDRF और NDRF टीमें मौके पर डटी हुई हैं
घायल लोगों को नज़दीकी अस्पतालों में भर्ती कराया गया
Villagers को safe areas में शिफ्ट किया जा रहा है
Roads और पानी के रास्ते unblock करने का काम जारी है
Local Impact
जोध घाटी, जंगलोट, बगरा, चांगड़ा और लखनपुर थाना क्षेत्र के कई गाँव भूस्खलन और फ्लैश फ्लड की चपेट में आए हैं। पहाड़ी इलाकों में मलबा गिरने से रास्ते बंद हो गए हैं, जिससे rescue teams को मुश्किल का सामना करना पड़ रहा है।
लोग क्या कह रहे हैं
स्थानीय ग्रामीणों का कहना है कि बारिश रातभर लगातार होती रही और अचानक पानी का बहाव तेज हो गया। “हमारे घरों में पानी घुस गया और कुछ ही मिनटों में हालात बिगड़ गए”, एक निवासी ने कहा।
Recent Pattern of Cloudburst
पिछले तीन-चार दिनों में जम्मू-कश्मीर में यह दूसरी बड़ी cloudburst घटना है। इससे पहले किश्तवाड़ जिले में भी इसी तरह का हादसा हुआ था जिसमें कई लोगों की जान चली गई थी। Experts का मानना है कि changing weather patterns और climate change इन हादसों की frequency बढ़ा रहे हैं।
Humanitarian Angle
यह disaster सिर्फ natural calamity नहीं बल्कि एक humanitarian crisis भी है। Families अपने प्रियजनों को खो चुकी हैं, बच्चे अनाथ हो गए हैं और कई लोग बेघर हो गए हैं। Relief camps और community kitchens शुरू करने की ज़रूरत है ताकि प्रभावित families को immediate सहायता मिल सके।
Government और Agencies का Coordination
Army + Police + SDRF + NDRF की संयुक्त टीमें काम कर रही हैं
Central Government ने Jammu Kashmir Administration को पूरी support का आश्वासन दिया है
Social organizations और स्थानीय NGOs भी मदद पहुँचा रहे हैं
Shah Times Analysis
कठुआ का यह हादसा हमें याद दिलाता है कि पहाड़ी और नदियों के किनारे बसे इलाकों में disaster management infrastructure को और मज़बूत करने की सख्त ज़रूरत है। Early warning systems, proper drainage और सुरक्षित housing policies इन घटनाओं के प्रभाव को कम कर सकते हैं।
निष्कर्ष
कठुआ की यह त्रासदी जम्मू-कश्मीर के लोगों के लिए एक बड़ा सदमा है। सरकार और प्रशासन लगातार राहत-बचाव कार्य में लगे हुए हैं। लेकिन यह सवाल भी उठता है कि क्या हमारी तैयारी इतनी मज़बूत है कि future disasters से जान-माल का नुकसान रोका जा सके। फिलहाल सबसे ज़रूरी है कि प्रभावित families तक जल्द से जल्द राहत पहुँचाई जाए और लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित की जाए।
Cloudburst and Landslide in Jammu Kashmir’s Kathua – 7 Dead, Dozens Injured, Rescue Operations in Full Swing